Video: बिहार में टला सबसे बड़ा रेल हादसा, 110 किमी के रफ्तार में दो हिस्से में बंटी लोहित एक्सप्रेस; यात्रियों में मचा हड़कंप

Lohit Express-जरा सोचिए 110 के स्पीड में ट्रेन चले और अचानक यात्रियों को यह पता चले कि ट्रेन दो हिस्सों में बैठ गई है आप की मनोदशा क्या होगी जब आप उस ट्रेन में मौजूद होंगे जी हां ऐसा ही कुछ हुआ है बिहार के कटिहार जिले में….
यात्रियों में मचा हड़कंप
यात्रियों में तब हड़कंप मच जाता है,जब उन्हें यह खबर लगती है कि जो ट्रेन में वह बैठे हैं वह ट्रेन दो हिस्सों में बांट चुकी है ट्रेन के दो हिस्से हो जाते हैं और अचानक यह सब कुछ होने जाने के बाद यात्रियों में हड़कंप मच जाता है।बिहार के कटिहार जिले में ऐसा ही हुआ है और ऐसा क्यों हुआ है होने के बाद क्या कुछ हुआ आपको इस लेख के माध्यम से हम बताने का कोशिश करेंगे|
क्या है पूरा मामला
दरअसल एनजीपी कटिहार रेलखंड के दलाकोला और सूरज कमल स्टेशन के बीच लोहित एक्सप्रेस ट्रेन के कपलिंग खुलने से ट्रेन दो भाग में बैठ गए उसके बाद यात्रियों में अफरा-तफरी मच गया अधिकारी के अनुसार इस घटना में किसी तरह का नुकसान नहीं हुआ है B1 और B2 के बीच कपल इन खोलने के साथ-साथ हाउस पाइप खुल गई थी जिसके बाद ट्रेन का ब्रेक ऑटोमेटिक काम करने लगा अलग हुआ हिस्सा करीब 300 मीटर तक चलता रहा बोगी रोकने के बाद यात्रियों की जान में जान आई और उन्होंने चैन की सांस ली…
ट्रेन के दो हिस्सों में बांटने के सूचना के बाद आसपास के इलाकों में सैकड़ों लोग जमा होगा हालांकि चालक और गार्ड की सूझबूझ से ट्रेन कपलिंग को फिर से जोड़ा गया करीब 1 घंटे के बाद 4:53 मिनट पर घटनास्थल से ट्रेन को रवाना किया गया कटिहार के अधिकारी कर्नल शुभेंदु कुमार चौधरी ने बताया कपलिंग खुलने की घटना को लेकर जांच का आदेश दिया गया है|

रूह कंपा देने वाला घटना
उड़ीसा के बालासोर में जबसे ट्रेन हादसा हुआ है तब से यात्री थोड़ी सी भी गलती पर भी इस प्रकार की घटना होती है ट्रेनों में तो हड़बड़ा जाते हैं डर जाते हैं और बड़े हादसे के डर से वह सहम जाते हैं ऐसा ही कुछ हुआ है बिहार के कटिहार जिले में हुआ है। मिली जानकारी के अनुसार आपको बता दें कि रेलवे का एक बड़ा हादसा होने से बाल-बाल बचा है अगर यह हादसा हो जाता तो आज हम आपको खबर कुछ और बता रहे होते।

यह है सबसे बड़ा सवाल
इस घटना को लेकर जो भी दोषी पाए जाएंगे उन पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी इस घटना में सबसे बड़ा सवाल यह है कि बार-बार इस प्रकार की घटना क्यों होती है कभी ट्रेन का पटरी से उतर जाना,तो कभी ट्रेन की कपलिंग खुल जाना और कभी ट्रेन का दो हिस्से में बैठ जाना ? सवाल यह है कि अगर ऐसा चलता रहा तो यात्री कितना सुरक्षित महसूस करेंगे सफर के दौरान ?