बिहार में इंटर पास छात्राओं को मिलेगा 25 से 40 हजार रुपये, जाने कहाँ और कैसे करना होगा अप्लाई?

बिहार बोर्ड के कक्षा 12वीं का परिणाम (Bihar 12th board exam result) घोषित किया जा चुका है। इस साल भी रिजल्ट में लड़कों से लड़कियां आगे रहीं। ऐसे में अब बिहार सरकार छात्राओं को सौगात देने जा रही है।
इंटर पास करने वाली लड़कियों को मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के तहत 25 हजार रुपये दिए जाएंगे। आपको बता दें कि इस साल बिहार बोर्ड (Bihar Board) की 12वीं की परीक्षा में छात्राओं का रिजल्ट 83 फीसदी से ज्यादा रहा।

आज हम आपको मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना (Mukhyamantri Kanya Uthan Yojana) में आवेदन करने की प्रक्रिया, पात्रता और जरूरी दस्तावेज के बारे में बता रहे हैं।
पात्रता
मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के लिए छात्रों के पास निम्नलिखित पात्रता होनी चाहिए:
- बिहार की स्थाई निवासी हो
- 12वीं पास हो
आवश्यक दस्तावेज
आवेदन करने से पहले आपके पास ये मुख्य दस्तावेज उपलब्ध होने चाहिए:
- आधार कार्ड
- वोटर ID कार्ड
- बैंक की पासबुक
- फोटो (पासपोर्ट साइज)
- आय प्रमाण पत्र
- 12वीं का मार्कशीट
कैसे करें आवेदन?

- सबसे पहले ई-कल्याण ekalyan.bih.nic.in के अधिकारिक वेबसाइट पर जाएं।
- इसके बाद “मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना-मुख्यमंत्री बालिका (माध्यमिक +2) प्रोत्साहन योजना 2022 के लिए आवेदन करें” लिंक पर क्लिक करें।
- अब Click Here To Apply पर क्लिक करें।
- अब रजिस्ट्रेशन नंबर, 12वीं का प्राप्तांक और कैप्टर कोड डालेंl
- अब आपको फॉर्म मिलेगाl
- फॉर्म में मांगी गई जानकारी भरें और दस्तावेजों को संगलग्न करेंl
- अब जानकारी देने के बाद Submit Button पर क्लिक करें।
किन छात्राओं को मिलेगा 40 हजार रुपये?
बिहार में अल्पसंख्यक और अनुसूचित जाति-जन जाति की लड़कियां अगर फर्स्ट डिविजन से इंटर पास करती हैं, तो उन्हें 15 हजार रुपये अतिरिक्त मिलेंगे। यानि उन्हें कुल 40 हजार रुपये मिलेंगे।

ये राशि कल्याण विभाग देता है। इसके लिए छात्राओं को अलग से फॉर्म भरना होता है।
बिहार बोर्ड के नतीजे
आपको बताते चलें कि पिछले वर्षो की तरह इस बार भी बिहार बोर्ड 12वीं के नतीजों में लड़कियां आगे रहीं। जहां कुल 76.66 प्रतिशत लड़के पास हुए वहीं 81.28% लड़कियों ने पास प्रतिशत हासिल किए।
वहीं पिछले वर्ष के पास प्रतिशत की बात करें तो 2021 में कुल 80.57 फ़ीसदी छात्रों ने परीक्षा उत्तीर्ण की थी। जिसमें 75.71 फ़ीसदी लड़के थे।