Vande Bharat Sleeper Train: देश की पहली स्लीपर वर्जन वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन तैयार! जाने रूट और फुल डिटेल्स

Vande Bharat Sleeper Train: देश की पहली स्लीपर वर्जन वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन तैयार!

“जैसा कि हमारे प्रधानमंत्री मोदी कहते हैं कि वंदे भारत ट्रेन, आज के आधुनिक होते हुए भारत की, बहुत ही शानदार तस्वीर है। ये भारत की स्पीड और स्केल दोनों का प्रतिबंध है।”

हम देख सकते हैं कि कितनी तेजी से देश वंदे भारत ट्रेन लॉन्च कर रहा है इसी क्रम को आगे बढ़ते हुए देश की पहली स्लीपर वर्जन वाली वंदे भारत एक्सप्रेस (Vande Bharat Sleeper Train) ट्रेन जल्द ही शुरू की जा सकती है।

आइए आपको बताते हैं कि देश की पहली स्लीपर वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन कहां से और किस रूट पर चलाने की तैयारी की जा रही है पढ़िए यह विशेष खबर –

Vande Bharat Sleeper ट्रेन देश की पहली स्लीपर वर्जन ट्रेन जल्द ही शुरू की जा रही है, उम्मीद है कि इस वित्तीय वर्ष में इसका काम पूरा हो जाएगा और अभी इस ट्रेन का प्रोटोटाइप ICF यानी  इंटीग्रल कोच फैक्ट्री (Integral Coach Factory) में तैयार हो रहा है। प्राप्त जानकारी के अनुसार देश की पहली स्लीपर वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन मुंबई से दिल्ली के बीच चलाई जा सकती है।

स्लीपर वंदे भारत ट्रेन कहां से कहां तक

देश की पहली स्लीपर वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन को मुंबई से दिल्ली के बीच चलाने की उम्मीद की जा रही है।आपको बता दें कि मुंबई से देश की सभी प्रीमियम ट्रेनें चलती हैं, और चूकि यहां की पब्लिक पैसा खर्च करने के लिए हमेशा तैयार रहती है, इसीलिए वंदे भारत स्लीपर ट्रेन को भी मुंबई से दिल्ली चलाने का निर्णय किया जा रहा है।

यहाँ 1972 से ही राजधानी एक्सप्रेस जो अब तेजस राजधानी एक्सप्रेस ट्रेन हो चुकी है, को चलाया गया था। देश की पहली प्राइवेट तेजस एक्सप्रेस ट्रेन भी मुंबई अहमदाबाद रूट पर चलती है।

मिशन रफ्तार एक परियोजना

ट्रेन से मुंबई से दिल्ली के बीच की यात्रा 16 घंटे से ज्यादा की होती है ,और रेलवे अब इसे घटा कर लगभग 12 घंटे में पूरा करने का प्रयास कर रही है। आपको बता दें कि मिशन रफ्तार नाम के एक परियोजना के अंतर्गत मुंबई से दिल्ली तक के बीच की यात्रा समय को कम करने की मंजूरी दी गई थी।

और इसके अंतर्गत ट्रैक और ब्रिज की मजबूती और ओ एच आई का मॉर्डनाइजेशन करने के साथ ही पूरे रूट पर कवच प्रणाली को स्थापित करने के लिए काम किया जा रहा है। इस परियोजना का मकसद यह है कि इस पर वंदे भारत ट्रेन को 160 किमी प्रति घंटा की रफ्तार दौड़ाया जा सके।

वंदे भारत स्लीपर ट्रेन की तैयारी

आपको बता दें कि वंदे भारत ट्रेनों को बनाने का कॉन्ट्रैक्ट आईसीएफ के पास है और उन्हे 86 वंदे भारत ट्रेनें बनानी है। जिसमें से 9 स्लीपर वर्जन वाली वंदे भारत ट्रेन होगी। इसके अलावा देशभर में अगले 4 वर्षों में लगभग 400 वंदे भारत ट्रेनों को चलाने की उम्मीद जताई जा रही है।

रेलवे द्वारा इसमें सीटिंग वर्जन, स्लीपर वर्जन, मेट्रो वर्जन ट्रेनें शामिल की गई है। ईएमयू लोकल ट्रेनों की जगह अब वंदे भारत मेट्रो वर्जन चलाने की तैयारी की जा रही है।

कहां तक पहुंचा मिशन रफ्तार

आपको बता दें कि मिशन रफ्तार को साल 2017- 18 में मंजूरी मिली थी और इसके तहत करीब 6679 करोड़ रुपए की लागत से रेलवे के विकास किया जा रहा है।मुंबई सेंट्रल से नागदा के बीच 694 किमी का काम किया जा रहा है, और इसके अलावा पश्चिम रेलवे क्षेत्र में आने वाले बड़ोदरा से अहमदाबाद के बीच 100 किमी का काम भी जारी है।

इस पूरे काम में अब तक 3227 करोड़ रुपए खर्च किए गए हैं और इसमें 195 किमी प्रोटेक्शन बॉल बनानी थी इसमें से 30 किमी का काम पूरा हो चुका है।आपको बता दें कि मेटल बैरियर फेसिंग मुंबई से अहमदाबाद तक 570 किमी में से 474 चीनी का काम भी पूरा हो चुका है।

इसके अलावा नागदा से मथुरा तक पश्चिम मध्य रेलवे के अंतर्गत 545 किमी का काम जारी है और इसके लिए लगभग 2664 करोड़ रुपए खर्च किए जा रहे हैं इसके अलावा मथुरा से पलवल 32 किमी और पलवल से दिल्ली 57 किमी जो उत्तर रेलवे के अंतर्गत और उत्तर मध्य रेलवे के अंतर्गत क्षेत्र में आते हैं उन पर भी कार्य जारी है।

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मुंबई को क्यों मिली तवज्जो

आपको बता दें कि रेलवे द्वारा मुंबई अहमदाबाद और मुंबई दिल्ली रूट पर हमेशा से ही सबसे ज्यादा पैसा खर्च किया है। इस रूट पर देश की सभी प्रीमियम ट्रेनें चला करती हैं औरऔर इस रूट पर एसी डबल डेकर ट्रेन भी चलती है।

और देश की पहली हाई स्पीड यानी बुलेट ट्रेन का भी रूट तैयार हो रहा है, मुंबई दिल्ली रूट पर चाहे हवाई सेवा है या रेलवे सेवा हमेशा मांग में बनी रहती है और यही कारण है कि पब्लिक यहां पैसा खर्च करने के लिए तैयार है।

इस रूट पर पहली वंदे भारत स्लीपर ट्रेन को चलाने की वजह महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश में होने वाला चुनाव भी हो सकता है, जिसके कारण रेलवे ने यह फैसला लिया है। यह भी एक वजह है कि मुंबई को वंदे भारत स्लीपर ट्रेन चलाने के लिए तवज्जो दी गई है।